नाइजर सेना ने फ्रांस के राजदूत को एंबेसी में बनाया बंधक, राशन तक नहीं पहुंच रहा: इमैनुअल मैक्रॉन

फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रॉन

नाइजर में फ्रांस के राजदूत सिलवेन इत्ते को राजधानी नियामे स्थित फ्रांसीसी दूतावास में बंधक बना कर रखा गया है. फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रॉन ने ये जानकारी दी है. उनका कहना है कि राजदूत सिलवन इत्ते के साथ फ्रांसीसी राजनयिकों की एक छोटी सी टीम भी है. मैक्रॉन का कहना है कि दूतावास तक खाद्य सामग्री नहीं पहुंचने दी जा रही है जिसकी वजह से राजदूत सेना का राशन खा रहे हैं. फ्रांस का कहना है कि पश्चिमी अफ़्रीकी देश नाइजर में जुलाई में तख़्ता पलट के बाद सैन्य जुंटा ने सत्ता पर कब्ज़ा कर लिया है. फ्रांस के राजदूत को देश छोड़ने का हुक्म दिया था लेकिन फ्रांस ने ये कह कर मना कर दिया था कि वो सैन्य सत्ता को नहीं मानती.

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‘राजदूत तक नहीं पहुंच रहा राशन’

इमैनुअल मैक्रॉन ने कहा कि सत्ता से बेदखल किए गए राष्ट्रपति मोहम्मद बाज़ौम को अभी भी फ्रांस वैधानिक शासक मानता है और उनके साथ हो रही बातचीत के आधार पर ही फ्रांस राजदूत को वहां से निकालने का फैसला लिया जाएगा. फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रॉन का कहना है कि राजदूत सिलवन इत्ते बाहर नहीं जा सकते हैं और उन तक राशन भी नहीं पहुंचने दिया जा रहा है. बता दें कि जुलाई में नाइजर पर कब्ज़ा करने के बाद, सैन्य जुंटा ने फ्रांस के राजदूत को  देश छोड़ने का आदेश दिया था. उनका वीज़ा रद्द कर दिया गया और पुलिस को उनको निष्कासित करने का निर्देश दिया गया था. 

‘बातचीत के बाद लेंगे इत्ते को बुलाने का फैसला’

फ्रांसीसी प्रेसीडेंसी के मुताबिक राजदूत देश छोड़कर नहीं गए.  फ्रांसीसी अधिकारियों ने कहा कि वह सैन्य जुंटा को नहीं मानते हैं. जब इमैनुअल मैक्रॉन से पूछा गया कि क्या वह फ्रांसीसी राजदूत को वापस लेकर आएंगे तो उन्होंने नाइजर के बेदखल राष्ट्रपति मोहम्मद बज़ौम को ही वैधानिक शासक मानते हुए कहा कि राष्ट्रपति बज़ौम के साथ जिस बात पर भी सहमति बनेगी वह वही करेंगे. उनकी बात चल रही है. 

‘बंधक बनकर भी काम रह रहे राजदूत इत्ते’

फ्रांस की विदेश मंत्री कैथरीन कोलोना का कहना है कि राजदूत सिलवन इत्ते अभी भी काम कर रहे हैं. फ्रांसीसी टीवी चैनल एलसीआई के साथ इंटरव्यू में कोलोना ने कहा कि राजदूत इत्ते काम कर रहे हैं. वह खुद इस बात की पुष्टि करती हैं. उन्होंने कहा कि उनके साथ एक छोटी सी टीम भी मौजूद है. कोलोना ने कहा कि जब तक फ्रांस चाहेगा तब तक इत्ते वहां रुके रहेंगे. उनको वापस बुलाने का फैसला राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रॉन का होगा. 

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