Independence Day 2023: स्वतंत्रता दिवस पर जानिए इस दिन का महत्व, इतिहास और कुछ रोचक तथ्यों के बारे में

Independence Day Significance: इस साल मनाया जा रहा है 77वां स्वतंत्रता दिवस. 

Independence Day 2023: भारत को 15 अगस्त, 1947 में ब्रिटिश साम्राज्य से आजादी मिली थी. यह पूरे देश के लिए गर्व और खुशी का दिन था. आजादी के इसी महोत्सव को हर साल 15 अगस्त के दिन देशभर में धूम के साथ मनाया जाता है. साथ ही, यह दिन उन स्वतंत्रता सैनानियों (Freedom Fighters) की कुर्बानी याद करने का है जिन्होंने देश की आजादी के लिए अपने प्राण न्यौछावर कर दिए थे. इस मौके पर जानिए स्वतंत्रता दिवस के इतिहास, महत्व और कुछ रोचक तथ्यों के बारे में जो हर देशवासी का सीना गर्व से फुला देते हैं. 

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स्वतंत्रता दिवस का इतिहास | Independence Day History 

ब्रिटिश साम्राज्य ने भारत में व्यापार करने के तौर पर अपनी ट्रेडिंग कंपनी, जिसका नाम ईस्ट इंडिया कंपनी था, के साथ सूरत, गुजरात 1619 में कदम रखा. साल 1757 में ईस्ट इंडिया कंपनी (East India Company) ने प्लासी का युद्ध जीतकर भारत का शासन अपने हाथों में ले लिया. ब्रिटिश साम्राज्य ने ईस्ट इंडिया कंपनी के द्वारा भारत पर 150 सालों तक राज किया. वक्त के साथ-साथ यह शासन दमनकारी और क्रूर होता गया जिसके विद्रोह में भारतीय आवाज उठाने लगे. इसी दौरान महात्मा गांधी, नेताजी सुभाष चंद्र बोस, सरदार वल्लभभाई पटेल और भगत सिंह जैसे नेता और स्वतंत्रता सेनानियों ने स्वतंत्रता संग्राम की शुरूआत की. भारत छोड़ो आंदोलन के चलते साल 1947 में आखिर भारतीय नागरियों को ब्रिटिश शासन से आजादी मिली. 

15 अगस्त का महत्व 

आजादी के बाद 15 अगस्त, 1947 को पहली बार भारतीय प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने लाल किले (Red Fort) पर तिरंगा फहराया था. इसके बाद से ही हर साल स्वतंत्रता दिवस पर भारतीय प्रधानमंत्री लाल किले पर तिरंगा फहराकर देशवासियों को संबोधित करते हैं. 

कुछ रोचक तथ्य 

  • पहली बार भारत का झंडा (National Flag) कलकत्ता के पारसी बगान स्क्वैर में 1906 में फहराया गया था. इस झंडे पर धार्मिक चिन्ह बने थे और आठ गुलाब थे जिनपर वंदे मातरम् लिखा था. 
  • साल 2002 से पहले भारत की आम जनता को स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्र दिवस के अलावा राष्ट्रीय ध्वज फहराने की इजाजत नहीं थी. इसके बाद 2002 में सुप्रीम कोर्ट ने फ्लैग कोड में बदलाव कर लोगों को कभी भी झंडा फहराने की मंजूरी दे दी. 
  • भारतीय ध्वज खादी का ही बना होना चाहिए. किसी और मटीरियल का ध्वज फहराने पर 3 साल तक की सजा का प्रावधान है. 

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